** छत्तीसगढ़ सहित पूरे देश में बैंकों की जमा राशि में तीन लाख करोड़ रूपए की अभूतपूर्व वृद्धि
** नगदी रहित डिजिटल भुगतान 56 प्रतिशत बढ़ा
** देश भर में 18 लाख संदेहास्पद बैंक खातों की हुई जांच
** करीब 4.73 लाख संदिग्ध लेन-देन का पता चला
** बैंकों में खोले गए 50 लाख श्रमिकों के नये बचत खाते
** नोटबंदी के एक साल में एक करोड़ से ज्यादा श्रमिकों को जोड़ा गया ई.पी.एफ. और ई.एस.आई. प्रणाली से
** छत्तीसगढ़ में भी 6 नवम्बर से 9 नवम्बर तक मनाया जाएगा कालाधन विरोधी दिवस
रायपुर / मुख्यमंत्री डॉ. रमन सिंह ने आज यहां बताया कि छत्तीसगढ़ सहित पूरे देश में नोटबंदी के लगभग एक वर्ष में बैंकों की जमा राशि में लगभग तीन लाख करोड़ रूपए की अभूतपूर्व वृद्धि हुई है। इस दौरान देश में नगदी रहित अर्थात् कैशलेस डिजिटल भुगतान में लगभग 56 प्रतिशत की वृद्धि रिकार्ड की गई है।
उन्होंने बताया कि नोटबंदी के बाद केन्द्र सरकार ने लगभग 18 लाख संदेहास्पद बैंक खातों की जांच पूरी कर ली है, जिनमें चार लाख 73 हजार संदिग्ध लेन-देन का पता चला है। इसके अलावा देशभर में एक लाख 25 हजार करोड़ रूपए के काले धन का पता लगाया गया है और 800 करोड़ रूपए से ज्यादा की बेनामी सम्पति जब्त की गई है। उन्होंने कहा – प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी द्वारा पिछले वर्ष 8 नवम्बर को देश में विमुद्रीकरण अर्थात् नोटबंदी का ऐतिहासिक फैसला लिया गया था। उनके इस फैसले के उत्साहजनक और सकारात्मक नतीजे मिलने लगे हैं। छत्तीसगढ़ सहित पूरे देश में बैंकों में लगभग 50 लाख श्रमिकों के नये बचत खाते खोलकर उनकी मजदूरी की राशि सीधे उनके बैंक खातों में ऑन लाइन जमा करने की व्यवस्था की गई है। नोटबंदी के बाद एक करोड़ से ज्यादा श्रमिकों को ई.पी.एफ. और ई.एस.आई.सी. प्रणाली से जोड़ा गया है। मुख्यमंत्री ने बताया कि नोटबंदी के ऐतिहासिक फैसले का एक वर्ष पूर्ण होने के उपलक्ष्य में केन्द्र सरकार ने आगामी 6 नवम्बर से 9 नवम्बर तक देश व्यापी कालाधन विरोधी दिवस मनाने का निर्णय लिया है। छत्तीसगढ़ में भी यह दिवस मनाया जाएगा। इसमें विभिन्न कार्यक्रम आयोजित किए जाएंगे और काले धन की रोकथाम के लिए सरकार द्वारा उठाये जा रहे कदमों की जानकारी आम जनता को दी जाएगी।
मुख्यमंत्री ने कहा – नोटबंदी से पहले देश में सिर्फ 28 सरकारी योजनाओं में ही हितग्राहियों के खातों में डायरेक्ट कैश ट्रांसफर की सुविधा थी, जबकि अब लगभग 300 योजनाओं में प्रत्यक्ष लाभ हस्तांतरण (डी.बी.टी.) की सुविधा मिलने लगी है। आयकर रिटर्न दाखिल करने वालों की संख्या नोटबंदी से पहले केवल 10 प्रतिशत थी, लेकिन अब इसमें 24.7 प्रतिशत की वृद्धि रिकार्ड की गई है। देशभर में 56 लाख नए आयकरदाता जुड़े हैं। डॉ. सिंह ने बताया कि विगत एक वर्ष में व्यक्तिगत आयकर के अग्रिम संग्रहण में पिछले साल की तुलना में लगभग 41.97 प्रतिशत वृद्धि हुई है। पूरे देश में कालेधन और हवाला लेनदेन को छुपाने में शामिल 37 हजार से ज्यादा शेल कम्पनियों की पहचान कर उनके खिलाफ कार्रवाई की जा रही है।
मुख्यमंत्री के साथ पत्रकार वार्ता में लोकसभा सांसद रमेश बैस और पूर्व विधानसभा अध्यक्ष धरमलाल कौशिक भी उपस्थित थे।