कोरिया / आंगनबाड़ी कार्यकर्ता सहायिका संघ छत्तीसगढ़ के बैनर तले कोरिया जिले की हजारों आंगनबाड़ी कार्यकर्ताओं ने जिला मुख्यालय के प्रेमाबाग में धरना दिया व विशाल रैली निकाल कर प्रधानमंत्री के नाम प्रशासन को ज्ञापन सौपा।
प्रधानमंत्री को लिखे पत्र के अनुसार भारत सरकार के महिला एवं बाल विकास मंत्रालय के द्वारा पूरे देश में वर्ष 1975 से आंगनबाड़ी केन्द्रों के माध्यम से समेकित बाल विकास योजना का संचालन हो रहा है। जिसमें 25 लाख से भी ज्यादा की संख्या में आंगनबाड़ी कर्मी कार्यरत है तथा इस योजना को सफलीभूत कर रहे है जिसके अंतर्गत 0-6 वर्ष की आय वर्ग के बच्चों के पोषण एवं प्राथमिक
स्वास्थय की देखभाल अनौपचारिक शिक्षा के साथ पूरक आहार उपलब्ध कराने शिशु एंव स्तनपान तथा गर्भवती माताओं को कुपोषण से बचाने के लिए जरूरी पोषाहार विटामिन प्रोटीन उपलब्ध कराने का कार्य केन्द्र सरकार की इस स्कीम के तहत ऑगनबाडी कर्मियों के द्वारा
किया जा रहा है। इसके अलावा राज्य शासन के द्वारा बी.एल.ओ.जनगणना आर्थिक जनगणना पल्स पोलियो फाइलेरिया, राशन कार्ड सत्यापन ओडीएम आदि का कार्य ऑगनबाडी कर्मियों से संपन्न कराए जाते है। इस कारण से इनके प्रतिदिन के कार्य के घण्टों में वृद्धि के साथ-साथ सूचना संकलन पंजिका के सुधार में कई गुना वृद्धि की गई है। आंगनबाड़ी केन्द्र तथा केन्द्र के पश्चात शेष समय में फील्ड के कार्य इन दोनों स्थानों के कार्यो को मिलाकर
देखें तो यह स्पष्ट हो जाएगा कि आठ घण्टे से अधिक समय का कार्य ऑगनबाडी कर्मियों को करना पड़ता है। इन कार्यों को करने के उपरांत भी आंगनबाड़ी कर्मियों को अब तक ना सरकारी कर्मचारी घोषित किया गया है ना ही न्यूनतम वेतन का भुगतान किया जा रहा है। केवल अल्प
मानव का भुगतान ही इन्हें प्राप्त हो है। आज के पूर्व वर्ष 2011 में ऑगनबाडी कर्मियों के मानधन में वृद्धि की गई थी, जिसके तहत आंगनबाड़ी कार्यकर्ता को 3000/- मिनी ऑगनबाडी कार्यकर्ताओं को 2250/- तथा आंगनबाड़ी सहायिका को 1500/- प्रतिमाह मानधन प्राप्त होता था । गत 11 सितम्बर को माननीय प्रधानमंत्री जी ने वीडियो कान्फ्रेसिंग के माध्यम से आंगनबाड़ी एवं आशा बहनों से संवाद करते हुए मानधन बढोतरी की घोषणा की थी जिसके तहत 01 अक्टूबर 2018 से नवीन संशोधित मानधन आंगनबाड़ी कार्यकर्ता को रू 4500/ मिनी आंगनबाड़ी कार्यकर्ता को 1 3500/- तथा सहायिका को 2200/- का भुगतान प्राप्त हो रहा है। अभी भी यह राशि न्यूनतम वेतन से बहुत दूर है। 17 नवम्बर 2017 को संसद भवन लाखों लाख की संख्या में आंगनबाड़ी कर्मियों ने प्रदर्शन करते हुए सरकारी कर्मचारी घोषित करने सहित सामाजिक सुरक्षा प्रदान करने एवं अन्य मांगों की ओर सरकार का ध्यानाकर्षण करवाया था। इसके उपरांत वर्ष 2018 में देश के सभी राज्यों की राजधानियों जिला मुख्यालयों एवं ब्लाक मुख्यालय में भी धरना प्रदर्शन करते हुए ज्ञापन पत्र प्रधानमंत्री एवं प्रदेशों के मुख्यमंत्रियों को प्रेषित किया था किन्तु आज पर्यन्त तक इन मागों के समाधान किए जाने की दिशा में सरकार के द्वारा कोई ठोस कार्यवाही नहीं की गई है।
प्रमुख मांगे इस प्रकार से है:-
01 आंगनबाड़ी कर्मियों को सरकारी कर्मचारी घोषित किया जाए।
02. आंगनबाड़ी कार्यकर्ता को 18000/-सहायिका को 9000/-प्रतिमाह न्यूनतम वेतन भुगतान सुनिश्चित किया जाए।
03 मिनी आंगनबाड़ी केन्द्र में पदस्थ आंगनबाड़ी कार्यकर्ता को भी मेन ऑगनबाडी में पदस्थ
आंगनवाड़ी कार्यकर्ता के बराबर / समतुल्य मानधन/न्यूनतम वेतन का भुगतान किया
जावे।
04 आंगनबाड़ी कर्मियों को भी सामाजिक सुरक्षा के तहत पीएफ.पेंशन ग्रेच्युटी एव चिकित्सा सुविधा उपलब्ध कराया जावे।
05 मासिक रिपोर्ट ऑनलाइन भेजने का खर्च उपलब्ध कराया जाए।
06. आंगनबाड़ी कार्यकर्ता एव सहायिका को उम्र का बंधन हटाते हुए वरीयता के आधार पर शत प्रतिशत पदोन्नत किया जाए।
07. जिन आंगनबाड़ी कर्मियों ने 15 वर्ष की सेवा पूर्ण कर ली है उनके उन्यन हेत चरि आंगनबाड़ी कार्यकर्ता/ वरि आंगनबाड़ी सहायिका नामक पद सृजित किया जाए । तदानुसार मानधन/वेतन के मद में अतिरिक्त आर्थिक लाभ भुगतान करने हेतु नवीन नीति बनाई जाए एव भुगतान सुनिश्चित किया जाए।
08 वर्तमान में देय मानधन एव पोषाहार राशि का भुगतान प्रतिमाह

