कोरिया / सोमवार को शहर सरकार में वर्तमान एमआईसी प्रभारी पार्षद सहित सभी निर्वाचित पार्षद और विपक्ष के नेता प्रतिपक्ष ने अपने निर्वाचित पार्षद का समर्थन करते हुए प्रेस वार्ता कर पीड़ित महिला के आरोपो का खंडन किया।
निर्वाचित एमआईसी पार्षद ने जानकारी देते हुए बताया की मै उस महिला को जानता या पहचानता भी नहीं हु । बीते दिवस पूर्व से तत्कालीन आयुक्त की कार्यवाई और पद मुक्त करने के कारण इस पुरे मामले को दूसरा रूप दिया जा रहा है। जिसमे बीते एक माह पूर्व नगर पालिक निगम की तत्कालीन आयुक्त द्वारा शहर के सभी वार्डो का निरिक्षण करते हुए अपने अधिनस्त कर्मचारियों की उपस्थिति की जाँच की जा रही थी जिसमें तत्कालीन आयुक्त द्वारा कुल 12 कर्मचारियों को अपने कार्य में लापरवाही बरतने और झूटी जानकारी देने के कारण उन सभी को निगम कार्यालय से पद मुक्त कर दिया गया जो शहर सरकार के एमआईसी या अन्य किसी पार्षद के साथ वर्तमान महापौर को भी सुचना नहीं दी गई जिसकी जानकारी होने के बाद हम सभी एमआईसी एवं निर्वाचित पार्षदों के साथ विपक्ष के पार्षदों से विचार विमर्श करते हुए इस पुरे मामले को विधायक एवं महापौर के सज्ञान में दिया गया था। इसी कर्म में पुनः तत्कालीन आयुक्त द्वारा इन पद मुक्त कर्मचारियों में से दो कर्मचारियों को बिना जानकारी के पुनः उनके पद पर रख लिया गया था, जिसकी जानकारी भी हम निर्वाचित पार्षदों को नहीं दी गई। इस बात पर हम एमआईसी पार्षदों का समूह तत्कालीन आयुक्त से मिल कर इस पुरे मामले की जानकारी की गई और इस बात पर अपनी नाराजगी जाहिर करते हुए पद मुक्त किये 12 लोगो को वापिस करने की बात कही गई की अगर आपके द्वारा इन कर्मियों को बाहर किया गया तो केवल दो लोगो को ही क्यु वापिस किया गया। अगर रखना है तो आप सभी को पुनः वापिस करे अन्यथा सभी को बाहर करे इस चरचा पर तत्कालीन आयुक्त द्वारा मुझे कोई जानकारी और वापिस रखने की बात का खंडन किया गया। जब इस बात की पूरी जानकारी ली गई तो यह पता चला की इन दो कर्मियों को ठेका सम्बंधित निगम ठेकेदार द्वारा रखा गया है। जिसको लेकर तत्कालीन आयुक्त ने सम्बंधित ठेकेदार को फटकार भी लगाई गई थी। इस बात से नाराज हो कर आरोप लगाने वाली महिला ने मुझ पर यह आरोप लगाया है।
वावजूद इसके इस कार्यवाई के बाद हम सभी निर्वाचित एमआईसी पार्षदों ने एक सयुक्त बैठक कर इन कर्मचारियों पर हुई कार्यवाई नहीं होने का प्रस्ताव भी बनाया गया है की आने वाले समय में किसी भी पदस्त अधिकारी कमिशनर द्वारा बिना एमआईसी पार्षदों के आदेश किसी प्रकार की कोई कार्यवाई नहीं कर सकते जो भविष्य में इन कर्मचारियों के लिए काफी लाभकारी साबित होगा । बावजूद इसके उक्त महिला ने मुझ पर जो आरोप लगाये है उसका हम सभी निर्वाचित पार्षद और विपक्ष के पार्षद खंडन करते है।
निगम कार्यालय से नीलम सरोवर पार्क की दुरी लगभग 200 सौ मीटर होगी अगर मेरे द्वारा उक्त महिला के साथ कुछ भी किया गया है तो निगम में लगभग छः से सात और भी कर्मचारी कार्यरत है किसी ने तो कुछ देखा होगा कभी भी मै स्वयं स्थानीय पुलिस प्रशासन से इस बात का निवेदन करता हु की वह इन बिंदु पर जाँच करे। मेरे मोबाईल का लोकेशन या कभी मेरी उक्त महिला से कोई बात या किसी प्रकार का कोई वाद विवाद किया गया हो तो वह कालडिटेल निकाल कर जाँच कर सकती है। अगर मै दोषी हु तो बिलकुल मुझ पर भारतीय सविधान के प्रति कार्यवाई हो जिसके लिए मै तैयार हुु। जिसका मै नहीं हम सभी पार्षद समर्थन करते है। उक्त महिला द्वारा जो भी आरोप लगाये गए वह सभी गलत और निराधार है। जिसका हम सभी खुल कर खंडन करते है।
जानकारी अनुसार बीते दो दिवस पूर्व ही शहर की एक महिला ने अपने साथ आये दिन हो रही छेड़खानी और अवैध संबंध की प्रताड़ना से तंग आकर स्थानीय पुलिस प्रशासन से उसकी प्रथम शिकायत के आधार पर न्याय की गुहार लगाई है।
पीड़ित महिला ने अपनी शिकायत में कहा है की उसकी पति की मृत्यु उपरांत वह शहर के ही एक शासकीय कार्यालय में कार्यरथ है और अपने कार्य से ही वह अपने दो बच्चों का भरण पोषण करती है । लेकिन वर्तमान एमआईसी पार्षद द्वारा उसे आये दिन छेड़खानी करते हुए उससे अवैध संबंध बनाने की बात कही जा रही । जिससे तंग आकर बीते शनिवार को उसने इस पुरे मामले की लिखित शिकायत करते हुए स्थानीय पुलिस प्रशासन से अपने प्रथम सुचना शिकायत पर न्याय की गुहार लगाते हुए पार्षद के विरोध कार्यवाई की मांग की गई है । जिसकी जानकारी होने के बाद सोमवार को सत्ता सरकार और विपक्ष की भूमिका में रहे नेता प्रतिपक्ष ने प्रेस वार्ता कर खंडन किया गया और स्थानीय प्रशासन से निष्पक्ष जाँच की बात कही गई है ।