रायपुर। थाना धरसींवा क्षेत्र के मांढ़र में हुई कथित लाखों की लूट की घटना का पुलिस ने खुलासा कर दिया है। जांच में पता चला कि यह लूट की घटना झूठी थी, जिसे प्रार्थी ने खुद अपनी लोकप्रियता बढ़ाने और आगामी सरपंच चुनाव में जीत सुनिश्चित करने के लिए रची थी।
झूठी लूट का मास्टरमाइंड निकला प्रार्थी
आरोपी चेतन लाल धीवर, जो पूर्व में सरपंच चुनाव हार चुका था, ने आगामी चुनाव में लोकप्रियता पाने के लिए यह साजिश रची। उसने अपनी रिपोर्ट में दावा किया था कि दो अज्ञात व्यक्तियों ने शिव शक्ति ब्रिक्स प्लांट के पास उसकी मोटरसाइकिल रोककर 4.44 लाख रुपये नगद और बैंक के दस्तावेजों से भरा बैग लूट लिया।
पुलिस की सूझबूझ से खुला राज
वरिष्ठ पुलिस अधीक्षक डॉ. लाल उमेद सिंह के निर्देश पर एंटी क्राइम और साइबर यूनिट की टीम ने मामले की जांच शुरू की। घटनास्थल के सीसीटीवी फुटेज और स्थानीय लोगों से पूछताछ में लूट की घटना के कोई सबूत नहीं मिले। इसके बाद जब प्रार्थी से सख्ती से पूछताछ की गई, तो उसने झूठी लूट की साजिश की बात कबूल कर ली।
बरामदगी और कार्रवाई
आरोपी की निशानदेही पर 1,94,000 रुपये नगद, एक मोबाइल फोन और घटना में प्रयुक्त दोपहिया वाहन को जब्त कर लिया गया। शेष 2.50 लाख रुपये की राशि को आरोपी ने उधार चुकाने के लिए इस्तेमाल किया था, जिसे रिकवर किया जा रहा है।
लोकप्रियता की चाहत बनी अपराध का कारण
पूछताछ में आरोपी ने बताया कि वह पिछले सरपंच चुनाव में हार गया था और इसे अपनी लोकप्रियता की कमी का परिणाम माना। आगामी चुनाव में जीतने के लिए उसने यह झूठी लूट की योजना बनाई ताकि सहानुभूति और लोकप्रियता हासिल की जा सके।
आरोपी के खिलाफ कार्रवाई
झूठी रिपोर्ट दर्ज कराने के आरोप में चेतन लाल धीवर के खिलाफ अलग से मामला दर्ज कर उसे गिरफ्तार कर लिया गया है। पुलिस की इस कार्रवाई में एंटी क्राइम और साइबर यूनिट के प्रभारी निरीक्षक परेश कुमार पांडेय और उनकी टीम की अहम भूमिका रही।
गिरफ्तार आरोपी:
चेतन लाल धीवर (40), निवासी शक्तिकुंज चौक, ग्राम अकोली, थाना धरसींवा, रायपुर।
पुलिस ने इस मामले के जरिए यह संदेश दिया है कि झूठी रिपोर्ट और कानून का दुरुपयोग करने वालों के खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाएगी।