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छत्तीसगढ़ राज्य वक्फ बोर्ड ने संपत्तियों के सर्वेक्षण का लिया फैसला

सभी जिलों के मुतवल्लियों को सात दिनों में जानकारी उपलब्ध कराने के निर्देश

रायपुर। छत्तीसगढ़ राज्य वक्फ बोर्ड ने प्रदेशभर में वक्फ संपत्तियों का सर्वेक्षण कराने का फैसला लिया है। इस संबंध में बोर्ड के मुख्य कार्यपालन अधिकारी (सीईओ) ने सभी जिलों के मुतवल्लियों को पत्र भेजकर सात दिनों के भीतर वक्फ बोर्ड के नाम पर पंजीकृत सभी संपत्तियों का विस्तृत विवरण प्रस्तुत करने का निर्देश दिया है।

बोर्ड ने मुतवल्लियों को स्पष्ट रूप से निर्देश दिया है कि वे अपनी देखरेख में आने वाली संपत्तियों की सूची तैयार करें और उसमें संबंधित दस्तावेज, भूमि का कुल क्षेत्रफल, संपत्ति की वर्तमान स्थिति और वहां संचालित गतिविधियों की जानकारी भी उपलब्ध कराएं।

किन संपत्तियों का होगा सर्वेक्षण?

राज्य भर में वक्फ बोर्ड के अधीन हजारों संपत्तियां हैं, जिनमें मस्जिद, मदरसा, दरगाह, कब्रिस्तान, ईदगाह, खानकाह, इमामबाड़ा, ताजिया चौकी, मकान, दुकान, कृषि भूमि, विद्यालय, व्यावसायिक प्लॉट और वक्फ अलल औलाद जैसी संपत्तियां शामिल हैं। इस सर्वेक्षण का उद्देश्य इन संपत्तियों का सही आकलन करना और उनके उचित प्रबंधन को सुनिश्चित करना है।

मुतवल्लियों को क्या करना होगा?

बोर्ड ने मुतवल्लियों से कहा है कि वे अपने अधिकार क्षेत्र की संपत्तियों से संबंधित वक्फनामा, हिबानामा, वक्फ डीड, नजूल शीट, राजस्व रिकॉर्ड और अन्य आवश्यक दस्तावेजों की प्रतियां भी प्रस्तुत करें। साथ ही, यह भी स्पष्ट किया गया है कि यदि कोई मुतवल्ली जानकारी छिपाने का प्रयास करता है या गलत सूचना देता है, तो संबंधित संपत्ति को शत्रु संपत्ति घोषित कर राजसात करने की कार्रवाई की जाएगी।

बोर्ड अध्यक्ष का बयान

छत्तीसगढ़ राज्य वक्फ बोर्ड के अध्यक्ष डॉ. सलीम राज ने बताया कि यह पहल पारदर्शिता और वक्फ संपत्तियों के संरक्षण को ध्यान में रखते हुए की जा रही है। उन्होंने कहा, “प्रदेश की वक्फ संपत्तियों का सही आकलन और प्रबंधन जरूरी है, ताकि मुस्लिम समाज के जरूरतमंद वर्गों को इनका अधिकतम लाभ मिल सके। यदि कोई मुतवल्ली अपनी संपत्तियों की जानकारी छिपाने का प्रयास करता है, तो उसके खिलाफ सख्त कार्रवाई की जाएगी।”

समुदाय से सहयोग की अपील

बोर्ड ने सभी मुतवल्लियों को निर्देश दिया है कि वे अपनी संबंधित मस्जिदों में शुक्रवार की नमाज के बाद इस विषय में घोषणा करें, ताकि समुदाय के अन्य लोग भी यदि किसी संपत्ति के बारे में जानकारी रखते हैं, तो उसे वक्फ बोर्ड तक पहुंचा सकें। इससे सर्वेक्षण अधिक प्रभावी और सटीक हो सकेगा।

वक्फ संपत्तियों के संरक्षण की दिशा में अहम कदम

प्रदेश में करीब 4500 से अधिक वक्फ संपत्तियां पंजीकृत हैं। लेकिन कई स्थानों पर इन संपत्तियों पर अवैध कब्जे और अनियमितताओं की शिकायतें भी सामने आती रही हैं। वक्फ बोर्ड का यह सर्वेक्षण इस समस्या के समाधान की दिशा में एक बड़ा कदम साबित हो सकता है।

मुतवल्लियों से प्राप्त जानकारी के आधार पर राज्य वक्फ बोर्ड आगे की योजना तैयार करेगा और जरूरत पड़ने पर अतिक्रमण हटाने और संपत्तियों के उचित उपयोग की दिशा में भी ठोस कदम उठाए जाएंगे।

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