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89 वर्षो से चली आ रही परम्परा, गणेश विसर्जन की झांकी में उमड़ा जनशैलाब

राजनांदगांव / शहर में 89 वर्ष से गणेश विसर्जन की पूर्व रात्रि में झांकी निकालने की परम्परा चली आ रही है। अपनी परम्परा के अनुरूप राजनांदगांव शहर में गुरुवार की रात विजर्सजन झांकी निकाली गई। विभिन्न गणेशोत्सव समितियों के द्वारा इस वर्ष 40 झांकियां निकाली गई। पुलिस और प्रशासन की चौक-चौबंध व्यवस्था के बीच शहर में लाखों दर्शनार्थियों ने मनमोहक झांकियों का आंनद लिया।  

प्रदेश में संस्कारधानी की ख्याति प्राप्त राजनांदगांव अपने संस्कारों और परम्परा के लिए जाना जाता है। यहां एकता और भाई चारे की अनूठी मिसाल पेश करने वाले इस शहर में गणेशोत्सव भी सौहाद्रपूर्ण मनाया जाता है। बरसों से चली आ रही विर्सजन झांकी के सिलसिले को प्रत्येक वर्ष की भांति इस वर्ष भी बेहतर तरीके से दर्शकों के बीच प्रस्तुत किया गया। यही कारण है कि यहां की झांकी देश और प्रदेश में मशहूर है। यहां की झांकी का लूत्फ उठाने छतीसगढ़, मध्य प्रदेश, महाराष्ट्र और अन्य प्रदेशों के कई जिले से लोग आते है।

शहर की सड़कों में रातभर घूमने वाले आकर्षक झांकियों को नगर निगम, लायंस क्लब और समाज सेवी संस्थाओं द्वारा प्रोत्साहन स्वरूप रंनिग शील्ड, नगदी रकम आदि देने के लिए पंडाल लगाकर झांकियों का अवलोकन किया जाता रहा। झांकियों का आनंद लेने नगर निगम प्रशासन, कांग्रेस पार्टी और भाजपा अपने-अपने पंडालों में बैठकर गणेशोत्सव समिति वालों का हौसला अफजाई करते रहे। झांकी की शानदार परम्परा को सभी लोगों ने सराहा।

राजनांदगांव शहर में विर्सजन झांकी के दौरान चप्पे-चप्पे पर पुलिस की पैनी नजर रही। यहां जुटने वाले लोगों की लाखों की संख्या में भीड़ रही। शाम 7 बजे से सुबह 8 बजे तक शहर की सड़कों में विर्सजन झांकियां घूमती रही।

इस मौके पर जिला पंचायत सीईओ तनूजा सलाम भी खुद गणेश जी को विषर्जित करने मोहरा नदी पहुंची।

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