रायपुर, 10 जून। मनेन्द्रगढ़-चिरमिरी-भरतपुर जिले के विकासखंड शिक्षा अधिकारी (बीईओ) सुरेन्द्र प्रसाद जायसवाल को सरगुजा संभाग के आयुक्त ने तत्काल प्रभाव से निलंबित कर दिया है। यह कार्रवाई शालाओं और शिक्षकों के युक्तियुक्तकरण के दौरान की गई गंभीर अनियमितताओं के चलते की गई है। आयुक्त की ओर से जारी आदेश में कहा गया है कि यह निलंबन राज्य शासन के निर्देशानुसार किया गया है।
श्री जायसवाल पर शिक्षकों की वरिष्ठता सूची में हेरफेर, विषयों की गलत जानकारी देने और चक्रिय विषय व्यवस्था का पालन न करने जैसे आरोप लगे हैं। आदेश में स्पष्ट किया गया है कि इन कृत्यों को कर्तव्य में घोर लापरवाही और स्वेच्छाचारिता मानते हुए उनके विरुद्ध छत्तीसगढ़ सिविल सेवा (आचरण) नियम 1965 तथा (वर्गीकरण, नियंत्रण एवं अपील) नियम 1966 के तहत अनुशासनात्मक कार्रवाई की गई है।
निलंबन आदेश में जिन तीन प्रमुख मामलों का उल्लेख किया गया है, वे निम्नलिखित हैं—
- माध्यमिक शाला लेदरी में, वरिष्ठता क्रम में आगे होने के बावजूद शिक्षिका श्रीमती गुंजन शर्मा को अतिशेष घोषित कर दिया गया।
- प्राथमिक शाला चिमटीमार में, नियुक्ति तिथि के अनुसार श्रीमती अर्णिमा जायसवाल को अतिशेष माना जाना चाहिए था, लेकिन इसके विपरीत श्रीमती संध्या सिंह का नाम सूची में रखा गया।
- माध्यमिक शाला साल्ही में, शिक्षक श्री सूर्यकांत जोशी के विषय की गलत जानकारी दी गई तथा विषय चक्र का उल्लंघन किया गया।
आयुक्त ने आदेश में कहा है कि इन त्रुटियों से स्पष्ट होता है कि बीईओ द्वारा युक्तियुक्तकरण प्रक्रिया में नियमों की अनदेखी की गई, जिससे शिक्षक व्यवस्था प्रभावित हुई है।
निलंबन की अवधि में श्री जायसवाल का कार्यस्थल जिला शिक्षा अधिकारी कार्यालय, मनेन्द्रगढ़-चिरमिरी-भरतपुर नियत किया गया है।